Thursday, 30 August 2018

हिन्दी पिल्मों में राखी गीत


  हिन्दी पिल्मों में राखी गीत 
रक्षाबंधन का त्योहार भाई-बहन वेफ् अटूट स्नेह को प्रदर्शित करने ज्ञााला है। इस कार आधारित गीतो ने श्रोताओं वेफ् दिल कार अमिट छाका छोत्रडी है। 
निर्माता एल ज्ञाी प्रसाद की 1959 में प्रदर्शित फिल्म 'छोटी बहन' संभज्ञातः काहली फिल्म थी, जिसमें भाई-बहन वेफ् कयार भरे अटूट रिश्ते को रुकाहले कारदे कार दिखाया गया था। इस फिल्म में बलराज साहनी ने बडे भाई और नन्दा ने छोटी बहन की भूमिका निभायी थी। शैलेन्द्र का लिखा और लता मंगेशकर द्वारा गाया फिल्म का यह गीत 'भइया मेरे राखी वेफ् बंधन को निभाना..' बेहद लोकप्रिय हुआ था। रक्षाबंधन वेफ् गीतों में इस गीत का ज्ञिाशिष्ट स्थान आज भी बरकरार है।
निर्माता. निर्देशक ए. भीम सिंह ने भाई.बहन वेफ् रिश्ते कार आधारित दो फिल्में-राखी और भाई बहन बनायीं। ज्ञार्ष 1962 में प्रदर्शित फिल्म रॉखी में अशोक वुफ्मार और ज्ञाहीदा रहमान ने भाई-बहन की भूमिका निभायी थी। ज्ञार्ष 1968 में प्रदर्शित भाई-बहन में सुनील दत्त और नूतन मुख्य भूमिकाओं में थे।

इसी दौर में अनकाढ (1962)और काजल फिल्म में भाई-बहन वेफ् काज्ञिात्र प्रेम कार दो खूबसूरत गीत कोश किए गए। इनमें अनकाढ का माला सिन्हा कार लता मंगेशकर की आज्ञााज में फिल्माया गीत-रंग बिरंगी राखी लेकर आई बहना... आज भी दर्शकों और श्रोताओं को अभिभूत कर देता है। काजल फिल्म में बलराज साहनी भाई की भूमिका में थे। फिल्म में मीना वुफ्मारी कार बेहद खूबसूरत गीत -'मेरे भइया मेरे चंदा मेरे अनमोल रतन' का फिल्मांकन किया गया था। रज्ञिा वेफ् संगीत निर्देशन में इस गीत को काार्श्व गायिका आशा भोंसले ने स्ज्ञार दिया था।

 बिमल राय की बंदिनी में भी यह बेहद मार्मिक गीत था. जिसमें बहन अकाने किाता से भाई को साज्ञान में भेजने का अनुरोध करती है-'अब वेफ् बरस भेज भइया को बाबुल साज्ञान में दीजो बुलाय रे।' बहन की ज्ञयथा को बतलाने ज्ञााले शैलेन्द्र के लिखे और एस डी बर्मन वेफ् स्ज्ञारबध्द किये इस गीत को भी आशा भोंसले ने अकाना कर्णप्रिय स्ज्ञार दिया था।
सुनील दत्त और जयश्री को लेकर 'दीदी' नाम से एक फिल्म भी बनी थी, जिसमें लता मंगेशकर की आज्ञााज में जयश्री कार एक सुमधुर गीत 'मेरे भइया को संदेसा काहुंचाना कि चंदा तेरी जोत जले' का फिल्मांकन किया गया था1  फिल्म में सुनील दत्त भाई की भूमिका में थे।

 ज्ञार्ष 1971 में रिलीज ..हरे रामा हरे वृफ्ष्णा में देज्ञाानन्द और जीनत अमान ने भाई-बहन की भूमिका निभायी थी। फिल्म का गीत.. 'फूलों का तारों का सबका कहना है. एक हजारों में मेरी बहना है' आज भी सदाबहार गीतों में शामिल है, रेशम की डोरी, में सुमन कल्याणकाुर का गाया-'बहना ने भाई की कलाई से कयार बांधा है' रक्षाबंधन कार आज भी रेडियो कार खूब बजता है।

 इसी तरह फिल्म बेईमान का 'ये राखी बंधन है ऐसा' (सच्चा झूठा), 'मेरी कयारी बहनिया बनेगी दुल्हनियां' (चम्बल की कसम', 'चंदा रे मेरे भइया से कहना' (कयारी बहना), राखी वेफ् दिन...(हम साथ साथ हैं), 'छोटे छोटे भाइयों वेफ्' (तिरंगा), 'इसे समझो न रेशम का तार' (रिश्ता कागज का), 'ये राखी की लाज तेरा भइया निभायेगा) आदि गीत भी काफी लोकप्रिय हुए।
कुछ समय भाई-बहन वेफ् रिश्तों कार आधारित फिल्मों में रॉखी का एक न एक गीत जरूर हुआ करता था लेकिन अब न तो इस तरह की फिल्में बन रही है और न ही रॉखी वेफ् गीत लिखे जा रहे है। तीन-चार साल काहले तक भी भाई-बहन वेफ् स्नेहकाूर्ण अटूट संबंधों को चित्रित करने ज्ञााली फिल्में बनती रही हैं लेकिन उनमें रक्षा बंधन को लेकर कोई गीत नहीं था और अब तो यह सिलसिला लगभग टूट ही गया है। 


 prayagraj